मंत्री के आश्वासन पर काम पर लौटी आशा वर्कर्स ddnewsportal.com

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मंत्री के आश्वासन पर काम पर लौटी आशा वर्कर्स 

मांगों को पूरा न करने पर नही कर रही थी हिम सुरक्षा अभियान का सर्वे, 275 रूपये डेली वैजिज मुख्य मांग।

मांगे पूरी न होने पर हिम सुरक्षा अभियान सर्वे पर काम न करने का निर्णय ले चुकी आशा वर्कर्स ने ऊर्जा मंत्री सुखराम चौधरी के आश्वासन के बाद काम पर लौटने का निर्णय लिया है। अब जिला सिरमौर मे जल्द ही उक्त अभियान

का सर्वे शुरू हो जाएगा। जानकारी के मुताबिक कैबिनेट मंत्री चौधरी सुखराम ने पांवटा साहिब मे आशा वर्कर्स को आश्वासन दिया है कि मुख्यमंत्री के समक्ष उनकी सभी जायज मांगों को उठाया जाएगा। उन्होंने कहा कि उनकी मांगों पर सरकार गोर करेगी और आवश्यकता अनुसार उन्हें पूरा भी किया जाएगा। जिसके बाद पांवटा साहिब में काम कर रही आशाओं ने अपनी हड़ताल को खत्म कर दिया है। आपको बता दें कि हिम सुरक्षा अभियान के तहत आशाओं को 30 दिनों घर घर जाकर कोरोना संक्रमित, हाई बीपी, शुगर, कुष्ठ रोग, टीबी आदि गंभीर बीमारियों का सर्वे करना है। इस सर्वे के आधार पर हिमाचल प्रदेश में कोरोना वायरस व अन्य पांच बीमारियों को लेकर सरकार सुरक्षा अभियान चलाएगी। वहीं दूसरी ओर आशा वर्कर्स ने बताया कि कैबिनेट मंत्री चौधरी सुखराम के साथ बातचीत में हमने अपनी मांगे जिसमें मुख्यता 8 घंटे से अधिक अगर काम लिया जाता है तो सरकार द्वारा उन्हे निर्धारित 275 रूपये म डेली वेजिज दिहाड़ी दी जाए। कोविड-19 संक्रमण जारी है, आशा वर्कर्स फिल्ड में जाकर काम कर रही है लेकिन सरकार द्वारा अगस्त माह के बाद कोविड-19 के लिए जो मानदेय दिया जा रहा था वह बंद कर दिया गया है। अगस्त माह से लेकर जब तक कोविड-19 का दौर जारी है उन्हें मानदेय दिया जाए। जनरल कैटेगरी गर्भवती महिलाओं की 9 माह देखभाल के बाद 600 रूपये दिए जाते थे वह भी बंद कर दिए गए

हैं। उन्हें यह भी दिये जाए। फरवरी माह में मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर द्वारा घोषित आशाओं को 500 प्रति माह बढ़ाकर देने की जो घोषणा की गई थी वह भी पूरी नहीं की गई है। फील्ड में काम करने के बाद जो इंसेंटिव व म वेतन बनता है वह कई कई महीनों बाद दिया जाता है यह वेतन प्रतिमाह देने का आदेश पारित किये जायें।